लॉकडाउन-4 में अब होंगे पांच जोन, जानें किस जोन में कितनी मिलेगी छूट और पाबंदियां.

लॉकडाउन-4 में अब होंगे पांच जोन, जानें किस जोन में कितनी मिलेगी छूट और पाबंदियां.

There will now be five zones in Lockdown-4, know which zones will get exemption and restrictions.

#IndiaFightsCorona #Lockdown4

जैसा कि आप सभी को मालूम हो गया है कि सरकार ने 31 मई 2020 तक के लिए लॉकडाउन को बढ़ा दिया है। लॉकडाउन का यह चौथा चरण सोमवार 18 मई से शुरू होकर 31 मई को खत्म होगा। केंद्र सरकार की ओर से जारी गाइडलाइन के मुताबिक, लॉकडाउन-4 में इलाकों को कुल पांच Zones में बांटा जाएगा। इससे पहले के सभी लॉकडाउन में केंद्र सरकार के मानकों के आधार पर निर्देशित 03 जोन में ही इलाके बांटे गए थे। इस बार इलाकों को कंटेनमेंट, बफर, रेड, ग्रीन और ऑरेंज जोन में बांटा जाएगा। गाइडलाइन के मुताबिक, इन सभी जोन का निर्धारण जिला प्रशासन करेगा। मुख्‍य रूप से जोन तीन ही होंगे बाकी के दो जोन (कंटेनमेंट और बफर) रेड और ऑरेंज जोन के भीतर निर्धारित किए जाएंगे।

लॉकडाउन-4 के इस चरण में केंद्र सरकार ने सभी जोनों का निर्धारण करने की जिम्‍मेदारी राज्‍य और केंद्र शासित प्रदेशों पर छोड़ दी है। सरकार की ओर से जारी गाइडलाइन में कहा गया है कि केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्‍याण मंत्रालय के मानकों को ध्‍यान में रखते हुए राज्‍य सरकारें इन जोनों का निर्धारण करेंगी।

कंटेनमेंट जोनों में केवल जरूरी गतिविधियों यानि इसेंसियल सर्विसेज़ को ही छूट दी जाएगी। केवल मेडिकल इमरजेंसी, जरूरी सेवाओं के लिए काम करने वाले लोगों को ही आने जाने की इजाजत होगी। इन जोनों में केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्‍याण मंत्रालय के मानक लागू होंगे। हालांकि इन इलाकों का निर्धारण जिला प्रशासन करेगा। कंटेनमेंट जोन में संक्रमितों की पहचान के लिए व्‍यापक अभियान के तहत इन इलाकों में संक्रमित लोगों की पहचान के लिए इंटेंसिव कॉन्‍ट्रैक्‍ट ट्रेसिंग के साथ साथ घर घर जाकर लोगों के बारे में जानकारी जुटाई जाएगी। यही नहीं दूसरे चिकि‍त्‍सकीय उपायों को भी आजमाया जाएगा।

केंद्र की ओर से जारी गाइडलाइन के नियम नंबर आठ में कहा गया है कि वर्गीकृत किए गए जोनों में किन दूसरी गतिविधियों की इजाजत नहीं दी जाए राज्‍य सरकारें इस बारे में आकलन करके उक्‍त गतिविधियों पर रोक लगा सकती हैं। यानी केंद्र ने लॉकडाउन-4 में राज्‍य सरकारों को गतिविधियों की बाबात बीते तीन लॉकडाउन से ज्‍यादा अधिकार प्रदान किए हैं। केंद्र की ओर से जारी गाइडलाइन में कहा गया है कि चाहे वह कोई भी जोन हो शाम सात बजे से सुबह सात बजे तक सामान्‍य लोग इलाकों में किसी तरह की आवाजाही नहीं कर सकेंगे। हालांकि जरूरी सेवाओं और उनसे जुड़े लोगों पर यह प्रतिबंध लागू नहीं किया गया है। यह भी कहा गया है कि आवाजाही की बाबत स्थानीय प्रशासन जरूरी आदेश जारी कर सकता है। केंद्र की ओर से जारी गाइडलाइन में कहा गया है कि चाहे वह कोई भी जोन हो 65 साल से ज्यादा उम्र के लोगों, बीमारों, ग‌र्भवती महिलाओं और 10 साल से कम उम्र के बच्चों को घर में ही रहना होगा। इन लोगों को इलाकों से बाहर केवल इलाज या बेहद जरूरी काम आने पर ही घर से निकलने की इजाजत होगी।

गंभीर श्रेणी में मानें जाएंगे ये इलाके-
किसी क्षेत्र में 200 से ज्यादा कोरोना संक्रमण के मामले या प्रति लाख की आबादी पर 15 से ज्यादा सक्रिय मामले होने को गंभीर की श्रेणी में माना गया है। बीमारी से जान गंवाने वालों की संख्या या पॉजिटिव मामलों का कंफर्मेशन रेट 06% से ज्यादा होने को भी गंभीर माना जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि एक बार जोन का निर्धारण हो जाने के बाद वहां कंटेनमेंट एक्शन प्लान का क्रियान्वयन सबसे अहम कदम है। स्वास्थ्य सचिव ने कोविड-19 से लड़ाई की दिशा में रेड व ऑरेंज जोन के भीतर बफर जोन को चिह्नित करने को भी अहम कदम बताया। सभी कंटेनमेंट जोन के आसपास के कुछ क्षेत्र को बफर जोन के रूप में चिह्नित कर वहां भी अतिरिक्त सतर्कता बरतनी चाहिए।स्वास्थ्य सचिव ने कहा कि कंटेनमेंट एक्शन प्लान को तभी सफल माना जा सकेगा जब कंटेनमेंट जोन में 28 दिन तक कोई नया मामला नहीं आए।

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